एक देश एक चुनाव पर मोदी सरकार की बड़ी तैयारी


एक देश एक चुनाव पर मोदी सरकार की बड़ी तैयारी


आगामी विशेष सत्र में मोदी सरकार एक देश एक चुनाव पर बिल संसद में ला सकती है. अगर ऐसा होता है तो संसद में एक बार फिर से सरकार और विपक्ष दोनों के बीच एक तानाशाही का माहौल देखने को मिल सकता है.

केंद्र सरकार ने एक विशेष सत्र बुलाया है जो कि 18 से 22 सितंबर के बीच होगा.जिसमें पांच वेट करूंगी संसदीय कार्य मंत्री प्रहलाद सिंह जोशी ने बृहस्पतिवार को सोशल मीडिया साइट पर यह जानकारी दी इसके बाद यह अटकले लगाई जा सकती हैं. कि विशेष सत्र के दौरान मोदी सरकार कोई अहम बिल पेश कर सकती है सूत्रों के अनुसार 5 दिन तक चलने वाले या संसद का विशेष सत्र में केंद्र सरकार एक देश एक चुनाव बिल लाने की तैयारी में है.

One Nation One Election
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बीजेपी एक लंबे समय से एक देश एक चुनाव की मांग करते आ रही है .खुद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी इसका जिक्र कई बार कर चुके हैं वह एक देश एक चुनाव को भारत की जरूरत बता चुके हैं हैं इंडिया टुडे ने सूत्रों के हवाले से यह बताया है कि जो अगला विशेष सत्र होगा उसमें मोदी सरकार वन नेशन वन इलेक्शन पर एक बिल को संसद में ला सकती है. अगर ऐसा होता है तो संसद में एक बार फिर से सरकार और विपक्ष दोनों के बीच एक तनातनी का माहौल देखने को मिल सकता है क्योंकि विपक्ष कभी नहीं चाहेगा कि वन नेशन वन इलेक्शन बिल पास हो.


एक देश एक चुनाव पर विधि आयोग भी काफी सक्रिय लग रहा है. इस साल की शुरुआत में उसने विभिन्न राजनीतिक दलों से जवाब मांगे थे आने वाले दिनों में मध्य प्रदेश राजस्थान छत्तीसगढ़ और अन्य कई राज्य के विधानसभा के चुनाव होने वाले हैं उससे पहले अगर मोदी सरकार या बिल लेकर आती है तो यकीनन या एक बड़ा कदम माना जा सकता है इस पर कांग्रेस नेता समेत विपक्षी दल इसका विरोध भी कर सकते हैं एक देश एक चुनाव के तहत लोकसभा और सभी राज्य की विधानसभाओं के चुनाव को एक साथ कराने होंगे.


एक देश एक चुनाव के पक्ष में क्यों है प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी



प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी कई बार एक देश एक चुनाव का जिक्र कर चुके हैं लेकिन वे एक साथ चुनाव करवाने के पक्षधर हमेशा से रहे हैं. कुछ साल में पहले उन्होंने इसको लेकर एक सर्वदलीय बैठक भी बुलाई थी लेकिन तब भी राजनीतिक दलों की राय अलग-अलग थी प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का एक देश एक चुनाव करवाने के पीछे एक बहुत बड़ा हाथ हो सकता है यह है कि इसमें ना सिर्फ समय की बचत होगी बल्कि हमारे देश का पैसा भी बचेगा मालूम हो कि देश में हर साल लगभग विधानसभा चुनाव होते ही हैं इसके अलावा हर 5 साल में लोकसभा का चुनाव करवाया जाता है ऐसे में बीजेपी का तकिया है कि यदि इन चुनावों को एक साथ करवा लिया जाता है तो पैसों के साथ-साथ समय की बचत होगी.


18 सितंबर से 22 सितंबर को बुलाया गया है विशेष सत्र संसद में



केंद्र सरकार ने अमृत काल के बीच 18 सितंबर से 22 सितंबर तक संसद के विशेष सत्र को बुलाया गया है. जिसमें पांच बैठेगी होनी है संसदीय कार्य मंत्री जोशी ने सोशल मीडिया पर यह पोस्ट में कहा था कि संसद का विशेष सत्र 18 से 22 सितंबर को होना है संसद के इस विशेष सत्र के एजेंडे के बारे में आधिकारिक तौर पर कुछ भी नहीं कहा गया है लेकिन यह सत्र 9 और 10 सितंबर के राष्ट्रीय राजधानी में जी-20 शिखर की बैठक के कुछ दिनों बाद आयोजित होने जा रहा है जिसमें संसद के इस विशेष सत्र में कुल 5 वेट करूंगी संसदीय कार्य मंत्री ने कहा है कि अमृत काल के समय में होने वाले इस सत्र में संसद में सार्थक चर्चा होनी है और बाहर को लेकर भी आशान्वित किया है.


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